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108 Names of Lord Shiva | Ashtottara Shatanamavali of Lord Shiva

DeepakDeepak

108 Shiva Names

Ashtottara Shatanamavali of Lord Shiva

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शिव
1
ॐ शिवाय नमः।
Om Shivaya Namah।
जो परम पावन हैं।
महेश्वर
2
ॐ महेश्वराय नमः।
Om Maheshwaraya Namah।
जो देवों के देव हैं।
शम्भु
3
ॐ शम्भवे नमः।
Om Shambhave Namah।
सुख-सम्पत्ति प्रदान करने वाले
पिनाकिन्
4
ॐ पिनाकिने नमः।
Om Pinakine Namah।
पिनाक नामक धनुष धारण करने वाले
शशिशेखर
5
ॐ शशिशेखराय नमः।
Om Shashishekharaya Namah।
शीश पर चन्द्रमा धारण करने वाले
वामदेवाय
6
ॐ वामदेवाय नमः।
Om Vamadevaya Namah।
जो समस्त प्रकार से शुभ एवं सुन्दर हैं।
विरूपाक्ष
7
ॐ विरूपाक्षाय नमः।
Om Virupakshaya Namah।
तिरछी आँखों वाले भगवान शिव
कपर्दी
8
ॐ कपर्दिने नमः।
Om Kapardine Namah।
जटा धारण करने वाले
नीललोहित
9
ॐ नीललोहिताय नमः।
Om Nilalohitaya Namah।
नील वर्ण वाले
शङ्कर
10
ॐ शङ्कराय नमः।
Om Shankaraya Namah।
सुख-सम्पदा प्रदान करने वाले
शूलपाणी
11
ॐ शूलपाणिने नमः।
Om Shulapanine Namah।
त्रिशूल धारण करने वाले
खटवांगी
12
ॐ खट्वाङ्गिने नमः।
Om Khatvangine Namah।
खट्वाङ्ग नामक आयुध धारण करने वाले
विष्णुवल्लभ
13
ॐ विष्णुवल्लभाय नमः।
Om Vishnuvallabhaya Namah।
जो भगवान विष्णु को अति प्रिय हैं।
शिपिविष्ट
14
ॐ शिपिविष्टाय नमः।
Om Shipivishtaya Namah।
किरणों से व्याप्त
अम्बिकानाथ
15
ॐ अम्बिकाानाथाय नमः।
Om Ambikanathaya Namah।
जो देवी अम्बिका (पार्वती) के पति हैं।
श्रीकण्ठ
16
ॐ श्रीकण्ठाय नमः।
Om Shrikanthaya Namah।
सुन्दर कण्ठ वाले
भक्तवत्सल
17
ॐ भक्तवत्सलाय नमः।
Om Bhaktavatsalaya Namah।
भक्तों पर स्नेह एवं करुणा बरसाने वाले
भव
18
ॐ भवाय नमः।
Om Bhavaya Namah।
स्वयं प्रकट होने वाले
शर्व
19
ॐ शर्वाय नमः।
Om Sharvaya Namah।
समस्त कष्टों एवं पापों को नष्ट करने वाले
त्रिलोकेश
20
ॐ त्रिलोकेशाय नमः।
Om Trilokeshaya Namah।
तीनों लोकों के स्वामी एवं अधिपति
शितिकण्ठ
21
ॐ शितिकण्ठाय नमः।
Om Shitikanthaya Namah।
श्वेत कण्ठ वाले
शिवाप्रिय
22
ॐ शिवाप्रियाय नमः।
Om Shiva-Priyaya Namah।
जो माता पार्वती को प्रिय हैं।
उग्र
23
ॐ उग्राय नमः।
Om Ugraya Namah।
अत्यन्त उग्र प्रकृति वाले
कपाली
24
ॐ कपालिने नमः।
Om Kapaline Namah।
गले में कपाल की माला धारण करने वाले
कामारी
25
ॐ कामारये नमः।
Om Kamaraye Namah।
कामदेव को भस्म करने वाले
अंधकारसुर सूदन
26
ॐ अन्धकासुरसूदनाय नमः।
Om Andhakasurasudanaya Namah।
अन्धकासुर का वध करने वाले
गङ्गाधर
27
ॐ गङ्गाधराय नमः।
Om Gangadharaya Namah।
जटाओं में देवी गङ्गा को धारण करने वाले
ललाटाक्ष
28
ॐ ललाटाक्षाय नमः।
Om Lalatakshaya Namah।
जिनके ललाट पर तीसरा नेत्र है।
कालकाल
29
ॐ कालकालाय नमः।
Om Kalakalaya Namah।
जो काल के भी काल हैं।
कृपानिधि
30
ॐ कृपानिधये नमः।
Om Kripanidhaye Namah।
भक्तों पर कृपा करने वाले, कृपा के सागर
भीम
31
ॐ भीमाय नमः।
Om Bhimaya Namah।
भीमकाय (विशाल) शरीर वाले
परशुहस्त
32
ॐ परशुहस्ताय नमः।
Om Parashuhastaya Namah।
परशु नामक अस्त्र धारण करने वाले
मृगपाणी
33
ॐ मृगपाणये नमः।
Om Mrigapanaye Namah।
हाथ में नर मृग धारण करने वाले
जटाधर
34
ॐ जटाधराय नमः।
Om Jatadharaya Namah।
जटा धारण करने वाले
कैलासवासी
35
ॐ कैलासवासिने नमः।
Om Kailasavasine Namah।
कैलाश पर्वत पर निवास करने वाले
कवची
36
ॐ कवचिने नमः।
Om Kawachine Namah।
विभिन्न प्रकार के आयुध धारण करने वाले
कठोर
37
ॐ कठोराय नमः।
Om Kathoraya Namah।
अत्यधिक सुदृढ़ शरीर वाले एवं अति बलशाली
त्रिपुरान्तक
38
ॐ त्रिपुरान्तकाय नमः।
Om Tripurantakaya Namah।
त्रिपुरासुर का अन्त करने वाले
वृषाङ्क
39
ॐ वृषाङ्काय नमः।
Om Vrishankaya Namah।
जिनके ध्वज पर वृष (नन्दी) का चिन्ह अङ्कित हैं।
वृषभारूढ़
40
ॐ वृषभारूढाय नमः।
Om Vrishabharudhaya Namah।
जो नन्दी पर सवार हैं।
भस्मोद्धूलितविग्रह
41
ॐ भस्मोद्धूलितविग्रहाय नमः।
Om Bhasmodhulitavigrahaya Namah।
सपूर्ण शरीर पर भस्म धारण करने वाले
सामप्रिय
42
ॐ सामप्रियाय नमः।
Om Samapriyaya Namah।
जिन्हें समानता प्रिय है।
स्वरमयी
43
ॐ स्वरमयाय नमः।
Om Swaramayaya Namah।
जो सङ्गीत में पारङ्गत हैं।
त्रयीमूर्ति
44
ॐ त्रयीमूर्तये नमः।
Om Trayimurtaye Namah।
जो त्रिमूर्ति (ब्रह्मा, विष्णु, महेश) में से एक हैं / जो ऋग्वेद, सामवेद एवं यजुर्वेद के रूप में स्थित हैं।
अनीश्वर
45
ॐ अनीश्वराय नमः।
Om Anishwaraya Namah।
जिनका कोई स्वामी नहीं हैं।
सर्वज्ञ
46
ॐ सर्वज्ञाय नमः।
Om Sarvajnaya Namah।
जो सर्वज्ञाता हैं।
परमात्मा
47
ॐ परमात्मने नमः।
Om Paramatmane Namah।
जो समस्त आत्माओं में श्रेष्ठ हैं।
सोमसूर्याग्निलोचन
48
ॐ सोमसूर्याग्निलोचनाय नमः।
Om Somasuryagnilochanaya Namah।
चन्द्र, सूर्य एवं अग्नि को अपने तीन नेत्रों के रूप में धारण करने वाले
हवि
49
ॐ हविषे नमः।
Om Havishe Namah।
जो हवि (हवन में आहुति के रूप में दिये जाने वाले द्रव्य) स्वरूप हैं।
यज्ञमय
50
ॐ यज्ञमयाय नमः।
Om Yajnamayaya Namah।
जो स्वयं यज्ञ स्वरूप हैं।
सोम
51
ॐ सोमाय नमः।
Om Somaya Namah।
जो चन्द्रमा के समान शीतल एवं निर्मल हैं।
पञ्चवक्त्र
52
ॐ पञ्चवक्त्राय नमः।
Om Panchavaktraya Namah।
पाँच मुख वाले
सदाशिव
53
ॐ सदाशिवाय नमः।
Om Sadashivaya Namah।
जो सदैव शुभ हैं।
विश्वेश्वर
54
ॐ विश्वेश्वराय नमः।
Om Vishveshwaraya Namah।
सम्पूर्ण सृष्टि के स्वामी
वीरभद्र
55
ॐ वीरभद्राय नमः।
Om Virabhadraya Namah।
जो उग्र भी हैं एवं शान्त भी
गणनाथ
56
ॐ गणनाथाय नमः।
Om Gananathaya Namah।
जो समस्त गणों (देवगण, मनुष्‍यगण एवं राक्षसगण) के अधिपति हैं।
प्रजापति
57
ॐ प्रजापतये नमः।
Om Prajapataye Namah।
समस्त प्राणियों के स्वामी
हिरण्यरेता
58
ॐ हिरण्यरेतसे नमः।
Om Hiranyaretase Namah।
सहस्र सूर्यों जितना तेज धारण करने वाले
दुर्धर्ष
59
ॐ दुर्धर्षाय नमः।
Om Durdharshaya Namah।
जिन्हें पराजित नहीं किया जा सकता
गिरीश
60
ॐ गिरीशाय नमः।
Om Girishaya Namah।
जो पर्वतों के स्वामी हैं।
गिरिश
61
ॐ गिरिशाय नमः।
Om Girishaya Namah।
कैलाश पर्वत पर शयन करने वाले
अनघ
62
ॐ अनघाय नमः।
Om Anaghaya Namah।
जो निर्विकार एवं दोषरहित हैं।
भुजङ्गभूषण
63
ॐ भुजङ्गभूषणाय नमः।
Om Bujangabhushanaya Namah।
सर्पों को आभूषण के रूप में धारण करने वाले
भर्ग
64
ॐ भर्गाय नमः।
Om Bhargaya Namah।
समस्त पापों को नष्ट करने वाले
गिरिधन्वा
65
ॐ गिरिधन्विने नमः।
Om Giridhanvane Namah।
मेरु पर्वत को अपने धनुष के रूप में धारण करने वाले
गिरिप्रिय
66
ॐ गिरिप्रियाय नमः।
Om Giripriyaya Namah।
जिन्हें पर्वत अति प्रिय हैं / जिन्हें देवी पार्वती अत्यन्त प्रिय हैं।
कृत्तिवासा
67
ॐ कृत्तिवाससे नमः।
Om Krittivasase Namah।
बाघम्बर धारण करने वाले
पुराराति
68
ॐ पुरारातये नमः।
Om Purarataye Namah।
त्रिपुरासुर एवं उनके त्रिपुरों (लोकों) का सँहार करने वाले
भगवान्
69
ॐ भगवते नमः।
Om Bhagawate Namah।
जो सर्वशक्तिमान ईश्वर हैं।
प्रमथाधिप
70
ॐ प्रमथाधिपाय नमः।
Om Pramathadhipaya Namah।
प्रमथगणों (शिवगणों) के अधिपति
मृत्युञ्जय
71
ॐ मृत्युञ्जयाय नमः।
Om Mrityunjayaya Namah।
मृत्यु पर विजय प्राप्त करने वाले
सूक्ष्मतनु
72
ॐ सूक्ष्मतनवे नमः।
Om Sukshmatanave Namah।
सूक्ष्म देह धारण करने वाले
जगद्व्यापी
73
ॐ जगद्व्यापिने नमः।
Om Jagadvyapine Namah।
सम्पूर्ण सृष्टि में विद्यमान रहने वाले
जगद्गुरू
74
ॐ जगद्गुरुवे नमः।
Om Jagadguruve Namah।
जो समस्त लोकों के गुरु हैं।
व्योमकेश
75
ॐ व्योमकेशाय नमः।
Om Vyomakeshaya Namah।
जिनके केश सम्पूर्ण आकाश में व्याप्त हैं।
महासेनजनक
76
ॐ महासेनजनकाय नमः।
Om Mahasenajanakaya Namah।
जो भगवान कार्तिकेय के पिता हैं।
चारुविक्रम
77
ॐ चारुविक्रमाय नमः।
Om Charuvikramaya Namah।
सुन्दरता को जीतने वाले
रुद्र
78
ॐ रुद्राय नमः।
Om Rudraya Namah।
भक्तों के कष्ट से द्रवित होने वाले
भूतपति
79
ॐ भूतपतये नमः।
Om Bhutapataye Namah।
जो पञ्चभूतों (अग्नि, वायु, जल, पृथ्वी, आकाश) के स्वामी हैं / जो भूतप्रेतों के स्वामी हैं।
स्थाणु
80
ॐ स्थाणवे नमः।
Om Sthanave Namah।
जो अडिग एवं अटल हैं।
अहिर्बुध्न्य
81
ॐ अहिर्बुध्न्याय नमः।
Om Ahirbudhnyaya Namah।
जो समस्त सृष्टि का आधार हैं / कुण्डलिनी धारण करने वाले
दिगम्बर
82
ॐ दिगम्बराय नमः।
Om Digambaraya Namah।
ब्रह्माण्ड को वस्त्र के रूप में धारण करने वाले
अष्टमूर्ति
83
ॐ अष्टमूर्तये नमः।
Om Ashtamurtaye Namah।
आठ रूपों वाले
अनेकात्मा
84
ॐ अनेकात्मने नमः।
Om Anekatmane Namah।
अनेक रूप धारण करने वाले
सात्त्विक
85
ॐ सात्त्विकाय नमः।
Om Sattvikaya Namah।
असीमित ऊर्जा के स्वामी
शुद्धविग्रह
86
ॐ शुद्धविग्रहाय नमः।
Om Shuddhavigrahaya Namah।
जो पूर्ण रूप से शुद्ध एवं निर्मल हैं।
शाश्वत
87
ॐ शाश्वताय नमः।
Om Shashvataya Namah।
जो अनन्त एवं अविनाशी हैं।
खण्डपरशु
88
ॐ खण्डपरशवे नमः।
Om Khandaparashave Namah।
खण्डित परशु धारण करने वाले
अज
89
ॐ अजाय नमः।
Om Ajaya Namah।
जो अजन्मा, असीमित एवं अजेय हैं।
पाशविमोचन
90
ॐ पाशविमोचकाय नमः।
Om Pashavimochakaya Namah।
समस्त सांसरिक बन्धनों से मुक्त करने वाले
मृड
91
ॐ मृडाय नमः।
Om Mridaya Namah।
सुख-सौभाग्य प्रदान करने वाले
पशुपति
92
ॐ पशुपतये नमः।
Om Pashupataye Namah।
समस्त पशुओं/जीवों के स्वामी
देव
93
ॐ देवाय नमः।
Om Devaya Namah।
जो सर्वशक्तिशाली सर्वव्यापी ईश्वर हैं।
महादेव
94
ॐ महादेवाय नमः।
Om Mahadevaya Namah।
जो देवों के भी देव हैं।
अव्यय
95
ॐ अव्ययाय नमः।
Om Avyayaya Namah।
जो अपरिवर्तनीय हैं।
हरि
96
ॐ हरये नमः।
Om Haraye Namah।
समस्त पापों को हरने वाले
भगनेत्रभिद्
97
ॐ भगनेत्रभिदे नमः।
Om Bhaganetrabhide Namah।
भग का नेत्र क्षतिग्रस्त करने वाले
अव्यक्त
98
ॐ अव्यक्ताय नमः।
Om Avyaktaya Namah।
जो अप्रत्यक्ष हैं।
दक्षाध्वरहर
99
ॐ दक्षाध्वरहराय नमः।
Om Dakshadhwaraharaya Namah।
दक्ष प्रजापति के यज्ञ का विध्वंश करने वाले
हर
100
ॐ हराय नमः।
Om Haraya Namah।
समस्त पाप बन्धनों को नष्ट करने वाले
पूषदन्तभित्
101
ॐ पूषदन्तभिदे नमः।
Om Pushadantabhide Namah।
पूषन नामक देव के दाँत तोड़ने वाले
अव्यग्र
102
ॐ अव्यग्राय नमः।
Om Avyagraya Namah।
स्थिर एवं अटल स्वभाव वाले
सहस्राक्ष
103
ॐ सहस्राक्षाय नमः।
Om Sahasrakshaya Namah।
सहस्र नेत्रों वाले
सहस्रपाद
104
ॐ सहस्रपदे नमः।
Om Sahasrapade Namah।
सहस्र पेरों वाले जो प्रत्येक स्थान पर उपस्थित हैं।
अपवर्गप्रद
105
ॐ अपवर्गप्रदाय नमः।
Om Apavargapradaya Namah।
मोक्ष प्रदान करने वाले
अनन्त
106
ॐ अनन्ताय नमः।
Om Anantaya Namah।
जो अनश्वर एवं अन्तहीन हैं।
तारक
107
ॐ तारकाय नमः।
Om Tarakaya Namah।
जीवों को मोक्ष प्रदान करने वाले
परमेश्वर
108
ॐ परमेश्वराय नमः।
Om Parameshwaraya Namah।
सर्वोच्च सत्ताधारी ईश्वर जिनसे सम्पूर्ण सृष्टि का सृजन एवं संहार होता हैं।

॥ Iti Shaktapramode Shri Shiva Ashtottarashatanamavalih Sampurna ॥

Kalash
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